Nirmal Bhatnagar
चुनें सही साथ…
May 26, 2023
फिर भी ज़िंदगी हसीन है…

दोस्तों, जीवन है तो कभी दौर अच्छा होगा; तो कभी बुरा, याने कभी सब-कुछ आपकी इच्छानुसार घटेगा; तो कभी ईश्वर की योजनानुसार। वैसे अगर इसे सिर्फ़ कर्म के आधार पर भी देखा जाए तो कभी आपके किए सही कार्य का परिणाम अच्छा मिलेगा, तो कभी योजना अथवा क्रियान्वन में कमी की वजह से बुरा। अर्थात् जीवन अच्छे-बुरे या उतार-चढ़ाव, दोनों ही तरह के परिणामों के साथ आगे बढ़ता है। लेकिन अगर आप हर स्थिति में परिणाम को अपनी ओर मोड कर सकारात्मक रूप से जीवन में आगे बढ़ना चाहते हैं तो सबसे महत्वपूर्ण हो जाता है कि आपने अपने आस-पास ऐसा माहौल तैयार कर रखा है या नहीं, जो विपरीत परिस्थितियों को आपकी ओर मोड कर परेशानियों को कम कर देता है। जी हाँ दोस्तों, साधारण सा लगने वाला यह सूत्र कई बार नकारात्मक स्थितियों को ही नहीं, अपितु जीवन को बचाने वाला भी सिद्ध हो सकता है। अपनी बात को मैं हाल ही में घटी एक घटना से समझाने का प्रयास करता हूँ।
बात वर्ष 2022 की है, जब बुडापेस्ट में विश्व एक्वेटिक्स चैंपियनशिप चल रही थी। उक्त प्रतियोगिता में अमेरिकी कलात्मक तैराक अनीता अल्वारेज़ ने एकल फ्री रूटीन प्रतियोगिता में भाग लिया था। प्रतियोगिता स्थल पर उनके साथ कोच के रूप में सिंक्रोनाइज़्ड स्विमिंग में चार बार की ओलंपिक पदक विजेता, स्पैनियार्ड फ्यूएंटेस मौजूद थी।
एकल फ्री रूटीन प्रतियोगिता के फ़ाइनल रूटीन राउंड के अंत में अनिता अचानक ही अचेत हो गई और डूब कर पूल के तले तक पहुँच गई। कुछ पलों तक जब कोच स्पैनियार्ड फ्यूएंटेस ने अनिता को नहीं देखा तो उन्हें कुछ अनहोनी का अंदेशा हुआ। उन्होंने सबसे पहले पूल में और फिर प्रतियोगिता स्थल के चारों ओर नज़रें घुमाने पर जब कोई लाइफ़ गार्ड नहीं दिखा तो उन्होंने खुद ही पानी में कूद कर अनिता की मदद करने का निर्णय लिया और पूल में छलांग लगा दी। कुछ ही पलों में उन्हें अनिता अचेत पूल के तल में दिखाई दी जिसे उन्होंने खींच कर बाहर निकाला क्योंकि इस समय तक, अनीता बेहोश थी और पैडल मारने या किसी भी तरह से खुद की मदद करने में सक्षम नहीं थी। अगर स्पैनियार्ड फ्यूएंटेस ने ध्यान नहीं दिया होता, तो अनिता निश्चित तौर पर डूब जाती।
इस घटना के बाद स्पैनियार्ड थोड़ा डर गई थी क्योंकि अनिता उस वक्त सांस नहीं ले पा रही थी। लेकिन स्वीमिंग पूल के पास ही समय पर प्राथमिक उपचार मिलने के कारण अनिता की जान बच पाई। दोस्तों, आपको जानकर आश्चर्य होगा कि अनिता अल्वारेज़ को इसके एक वर्ष पूर्व भी ओलंपिक क्वालीफिकेशन इवेंट के दौरान स्पैनियार्ड फ्यूएंटेस ने अपने अमेरिकी साथी तैराक लिंडी श्रोएडर के साथ छलांग लगाकर बचाया था।
दोस्तों, हमारा जीवन भी स्वीमिंग पूल की ही तरह होता है, जिसमें हम जीवन भर उतार-चढ़ाव, सफलता-असफलता, अच्छा या बुरा समय रूपी डुबकियाँ लगाते रहते हैं। ऐसे में अगर हम समय रहते स्पैनियार्ड फ्यूएंटेस की तरह मददगार लोगों का साथ ना चुन पाएँ, तो स्थितियाँ गम्भीर हो सकती हैं। इसलिए दोस्तों, जब समय ठीक चल रहा हो या जिस वक्त आप जीवन में तेजी से आगे बढ़ने की योजना बना रहे हों या फिर सफलता के लिए खुद को तैयार कर रहे हों, उस वक्त अपने आस-पास मौजूद लोगों में से उन लोगों को पहचानने का प्रयास करें जो आप पर आने वाले ख़तरों को पहले ही भाँप सकें और आपको या आपके कार्य को होने वाले सम्भावित नुक़सान से बचा सकें। याने यह वह लोग होंगे जो आपको जीवन में बड़ी ग़लतियाँ करने से रोकेंगे या परेशानियों अथवा विपत्तियों से बचाएँगे। जी हाँ दोस्तों, विपरीत परिस्थिति या परेशानी भरे समय में कंधे से कंधा मिलाकर चलने वाले लोगों का साथ होना आपको सकारात्मक ऊर्जा और सही सलाह के साथ, एक बार फिर सफलता की छलांग लगाने के लिए तैयार करता है। विचार कर देखिएगा ज़रूर...
-निर्मल भटनागर
एजुकेशनल कंसलटेंट एवं मोटिवेशनल स्पीकर
nirmalbhatnagar@dreamsachievers.com