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बात से ज़्यादा महत्वपूर्ण है, बात करने का तरीक़ा…

  • Writer: Nirmal Bhatnagar
    Nirmal Bhatnagar
  • Jul 15, 2024
  • 3 min read

July 15, 2024

फिर भी ज़िंदगी हसीन है…

दोस्तों, किसी ने सही कहा है, ‘शब्दों से आप किसी के दिल में उतर सकते हैं, तो किसी के दिल से भी उतर सकते हैं।’ जी हाँ दोस्तों, शब्द वाक़ई इतने महत्वपूर्ण होते हैं। अगर आप इनका इस्तेमाल सही तरह से करते हैं तो यह आपको सम्मान से लेकर दुनिया की कोई भी वस्तु दिला सकते हैं। लेकिन अगर आपने इसका इस्तेमाल सही नहीं किया तो यह आपसे सब कुछ छीन भी सकते हैं। अपनी बात को मैं आपको एक कहानी से समझाने का प्रयास करता हूँ।


बात कई साल पुरानी है, राजपुर के राजा को एक दिन बड़ा ही विचित्र सपना आया, जिसमें उन्होंने अपने सभी दांत एक-एक करके ज़मीन पर गिरते हुए देखे। सपने को देख वे एकदम चौंक कर उठे और इस सपने का अर्थ समझने का प्रयास करने लगे। जब अगले कई दिनों तक वे इस सपने की पहेली को सुलझा नहीं पाए तो उन्होंने अपने राज्य के चतुर और विद्वान लोगों की मदद लेने का निर्णय लिया। विचार आते ही राजा ने अगले दिन अपने मंत्रियों की सहायता से, अपनी राज सभा में सभी चतुर और ज्ञानी लोगों को बुलवाया और उन्हें अपने सपने के विषय में बताया। सभी लोगों ने काफ़ी देर तक इस विषय में मंत्रणा की और राजा के सपने को डीकोड करने का प्रयास किया, लेकिन किसी को भी इसमें सफलता नहीं मिली। अंत में मंत्री ने राजा को पास ही के गाँव में रहने वाले एक व्यक्ति के बारे में बताया जो सपनों को डीकोड करने का विशेषज्ञ माना जाता था।


अगले दिन राजा ने उस व्यक्ति को राज सभा में बुलवाया और उसे अपने सपने के विषय में बताते हुए, उससे इसका अर्थ पूछा। उस व्यक्ति ने राजा के समक्ष हाथ जोड़ते हुए कहा, ‘महाराज, यह सपना तो वाक़ई दिल दहला देने वाला है। इस विषय में आप ना ही पूछें तो अच्छा रहेगा।’ इतना सुनते ही महाराज के मन में सपने का राज जानने की इच्छा और ज़्यादा बलवती हो गई और राजा ने उस युवा व्यक्ति को सपने के गूढ़ अर्थ को समझाने का आदेश दिया। उस युवा ने हाथ जोड़ते हुए कहा, ‘महाराज आपकी आँखों के सामने आपके परिवार के सभी सदस्यों की मृत्यु हो जाएगी और आप इस दुनिया में अकेले रह जाएँगे।’


सपने की व्याख्या सुनते ही राजा नाराज़ हो गये और उन्होंने सपने को डीकोड करने वाले को हवालात में डलवा दिया। अगले दिन राजा ने एक सभासद के सुझाव पर दूर गाँव में रहने वाले एक बुजुर्ग को अपने पास बुलवाया और उसे अपने सपने के विषय में बताया और उससे हाथ जोड़ते हुए कहा, ‘बाबा! मैं पिछले कई दिनों से इस सपने का अर्थ खोजने का प्रयास कर रहा हूँ लेकिन मुझे अभी तक सफलता नहीं मिली है। अगर आप मुझे इस सपने का अर्थ समझा देंगे तो बहुत कृपा होगी।


उस बुजुर्ग व्यक्ति ने राजा से कहा, ‘राजन, आपका सपना तो बड़ा अद्भुत है। यह आपके भविष्य के बारे में बड़ा ही महत्वपूर्ण और अच्छा इशारा करते हुए बता रहा है कि ईश्वर ने आपको बहुत ही लंबी आयु दी है। आपके परिवार के सभी सदस्यों को और हमें आपके सानिध्य का लाभ काफ़ी लंबे समय तक मिलता रहेगा।’ बुजुर्ग व्यक्ति की बात सुनते ही राजा बड़े प्रसन्न हो गये और उन्होंने उस बुजुर्ग व्यक्ति को बहुत सारे हीरे-जवाहरात उपहार में दिए और उन्हें राज सभा से स-सम्मान विदा किया।


दोस्तों, अगर आप ध्यान से देखेंगे तो पायेंगे कि युवा और बुजुर्ग व्यक्ति ने राजा के सपने की व्याख्या लगभग एक समान ही करी थी। लेकिन उसके बाद भी युवा को राजा ने दंड सुनाते हुए कारावास में डाल दिया और बुजुर्ग का सम्मान करते हुए, उसे हीरे-जवाहरात से नवाज़ा। जानते हैं क्यों? सिर्फ़ बात कहने के लहजे से। इसीलिए दोस्तों कहा गया है कि ‘सच को भी सही तरीक़े से कहना आवश्यक है अन्यथा सच अमूल्य होते हुए भी अपनी क़ीमत खो देता है। इसीलिए दोस्तों, मेरा मानना है कि बात करने का तरीक़ा बात से भी ज़्यादा महत्वपूर्ण होता है। एक बार विचार कर देखियेगा ज़रूर…


-निर्मल भटनागर

एजुकेशनल कंसलटेंट एवं मोटिवेशनल स्पीकर

 
 
 

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